अफगानिस्तान क्रिकेट टीम को ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ नवंबर के महीने में पहली बार एक मैच की टेस्ट सीरीज खेलने का मौका मिला है। लेकिन तालिबान के कब्जे के बाद जहां पिछले कुछ सीरीजों को रद्द कर दिया गया था, तो वहीं इस टेस्ट सीरीज को लेकर यह साफ कर दिया गया है कि तालिबान अपनी तरफ से किसी भी क्रिकेट मैच को रोकने को कोशिश नहीं करेंगे।
Advertisement
Advertisement
अगस्त महीने के मध्य में पूरे अफगानिस्तान में काफी उथल-पुथल देखने को मिल रही है, जिसके पीछे तालिबान का पूरी तरह से देश की राजधानी काबुल पर कब्जा करना बताया जा रहा है। इससे पहले भी कुछ ऐसी खबरें सामने आईं थी कि तालिबान क्रिकेट के बिल्कुल भी खिलाफ नहीं है और वह चाहता है कि टीम लगातार खेलना जारी रखे।
लेकिन इस बड़े राजनीतिक बदलाव के बाद अफगानिस्तान टीम की प्रस्तावित पाकिस्तान के खिलाफ सीरीज को जरूरी कारणों के चलते रद्द कर दिया गया था। हालांकि तालिबान के कब्जे के बावजूद अफगानिस्तान क्रिकेट टीम ने काबुल स्थित अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में लगातार अभ्यास करना जारी रखा।
तालिबान कल्चर कमेटी के डिप्टी प्रमुख अहमुद्ल्लाह वासिक ने कहा कि अफगानिस्तान और ऑस्ट्रेलिया के बीच होबार्ट के मैदान में होने वाला टेस्ट मैच अपने तय कार्यक्रम के अनुसार खेला जाएगा।
27 नवंबर को होगा दोनों टीमों के बीच पहली बार टेस्ट मैच
स्पोर्ट्सकीडा में एसबीएस पास्तो की छपी एक रिपोर्ट में यह बयान आया कि अफगानिस्तान टीम अपने सभी मैच तय कार्यक्रम के अनुसार बिना किसी दखलअंदाजी के खेल सकती है। भविष्य में हम सभी देशों के साथ बेहतर रिश्ते चाहते हैं और इसमें अफगान क्रिकेट टीम काफी मददगार साबित हो सकती है।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अफगानिस्तान टीम को एक मैच की टेस्ट सीरीज होबार्ट के मैदान में 27 नवंबर से 1 दिसंबर तक खेलनी है। जिसके बाद ऑस्ट्रेलियाई टीम अपने घर पर इंग्लैंड के खिलाफ एशेज सीरीज खेलने में व्यस्त हो जाएगी।