कुलदीप यादव कभी अपने पिता की ईंटों की फैक्ट्री पर करते थे गेंदबाज़ी, आज अपनी फिरकी से सिडनी में मचाया तहलका

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Kuldeep Yadav (Photo by Ryan Pierse/Getty Images)

टीम इंडिया ने सिडनी मैच में अपनी पकड़ पूरी तरह से मज़बूत कर ली है। टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया को फॉलोऑन खेलने पर मजूबर कर दिया है।

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अब ऑस्ट्रेलिया के लिए यहां से मैच बचाना इतना आसान नहीं होगा। ऑस्ट्रेलिया टीम की दुगर्ति करने में सबसे अहम रोल टीम इंडिया के चाइनामैन गेंदबाज़ कुलदीप यादव ने निभाया। कुलदीप यादव ने 99 रन देकर 5 विकेट लिए। उ

नकी फिरकी के सामने ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज़ पूरी तरह से बेबस नज़र आए और ऑस्ट्रेलिया की टीम पहली पारी में 300 रनों पर ऑलआउट हो गई।

ऐसे में आज कुलदीप यादव के पिछली ज़िंदगी के बारे में जानना काफी दिलचस्प होगा कि आखिर एक यूपी के छोटे से गांव का लड़का गेंदबाज़ी करते हुए टीम इंडिया में कैसे जा पहुंचा।

यूपी के छोटे से गांव में हुआ जन्म

कुलदीप यादव का जन्द यूपी राज्य के उन्नाव जिले में शिव सिंह खेरा गांव में 14 दिसंबर साल 1994 को हुआ। कुलदीप यादव के पिता का अपने गांव में ही ईंटों का भट्टा था। जहां वह ईंटे बनाते थे।

जब कुलदीप छोटे थे तो वह अपने पिता के ईंटों के भट्टे पर पहुंचकर वहां उबड़ खाबड़ जमीन पर गेंदबाज़ी करते थे। बस यही से उन्हें गेंदबाज़ी का शौक पैदा हुआ।

तेज़ गेंदबाज़ बनना चाहते थे कुलदीप

कुलदीप यादव अपने शुरुआती दिनों में तेज़ गेंदबाज़ी करते थे। लेकिन उनके कोच ने उन्हें लेग स्पिन करने की सलाह दी। कोच की सलाह पर ही कुलदीप ने स्पिन गेंदबाज़ी करना शुरु की थी।

महज़ 17 साल की उम्र में कुलदीप ने टीम इंडिया की अंडर- 19 टीम में जगह बनाई थी।

कोहली की जगह टीम में किया गया था शामिल

साल 2017 में कुलदीप यादव ने धर्मशाला के मैदान में ऑस्ट्रेलिया टीम के खिलाफ अपना टेस्ट डेब्यू किया। जानकर हैरानी होगी कि अंतिम समय में कोहली को कंधे की चोट के कारण बाहर होना पड़ा।

इस वजह से कुलदीप को टीम में शामिल किया था। कुलदीप ने अपने पहले ही मैच में 68 रन देकर 4 विकेट लिए। इतना ही नहीं इस गेंदबाज़ का पहला टेस्ट शिकार डेविड वॉर्नर बने थे।

एक हैरानी वाली बात ये भी है कि करीब 80 साल के बाद भारतीय टीम के इतिहास में कोई चाइनामैन गेंदबाज़ मिला है।

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