एशेज सीरीज में इंग्लैंड ने अब तक बेहद निराशाजनक प्रदर्शन किया है। लगातार तीन टेस्ट मैच में मिले हार के बाद पूरे क्रिकेट जगत में उनकी आलोचना हो रही है। फैंस से लेकर क्रिकेट जगत के तमाम दिग्गज इस पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए नजर आए हैं। कुछ लोग इसके लिए इंग्लिश बल्लेबाज को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं।
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वहीं कुछ का मानना है कि जो रूट ने इस सीरीज में गलत फैसले लिए हैं जिस वजह से उनकी टीम को लगातार हार का सामना करना पड़ रहा है। इस बीच इंग्लैंड के पूर्व खिलाड़ी माइकल वॉन ने इस हार के बाद बड़ा बयान दिया है। इंग्लैंड के पूर्व बल्लेबाज और एशेज विजेता कप्तान माइकल वॉन ने इंग्लैंड के चल रहे खराब दौर को 2015 के दौरान सफेद गेंद वाली टीम के बराबर रखा है।
माइकल वॉन ने बताया आखिर क्यों टेस्ट क्रिकेट में लचर प्रदर्शन कर रही है इंग्लैंड टीम
द टेलेग्राफ के लिए कॉलम लिखते हुए माइकल वॉन ने कहा कि, “यह (मौजूदा खराब पैच) ऑस्ट्रेलिया में 2015 विश्व कप के बराबर है जब हमें एहसास हुआ कि हमें अपना नजरिया बदलना होगा। वो 2019 में भाग्यशाली थे जब उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के लिए घर पर सीरीज ड्रॉ की। ऑस्ट्रेलियाई टीम को 2019 में हमें हराना चाहिए था और अगर हमने जल्दी कार्रवाई नहीं की तो हमें 2023 में भी हार का सामना करना होगा।”
व्हाइट-बॉल क्रिकेट के इंग्लैंड की रेड-बॉल गिरावट के पीछे कारण होने के हालिया दावों का खंडन करते हुए, वॉन ने इसे केवल एक बचने का रास्ता और वास्तविकता को छिपाने का एक तरीका बताया। 47 वर्षीय वॉन ने खिलाड़ियों द्वारा प्रथम श्रेणी क्रिकेट पर ध्यान न देने को इंग्लैंड के इस विफलता के पीछे प्रमुख कारण बताया।
उन्होंने आगे कहा कि, “सफेद गेंद वाले क्रिकेट को दोष देना आसान है। इसका इससे कोई लेना-देना नहीं है। हमने प्रथम श्रेणी क्रिकेट से अपनी नजर हटा ली है और इसको सड़ने दिया है। हमने एक सिस्टम और पाथवे प्रोग्राम बनाया है जहां खिलाड़ियों को खुद बताया जाता है। आप पैट कमिंस, मिशेल स्टार्क और जोश हेजलवुड के खिलाफ एक विचित्र तकनीक के साथ पिच पर लंबे समय तक नहीं टिक पाएंगे।”