भारत के पूर्व ऑफ स्पिनर हरभजन सिंह ने बड़ा बयान दिया है। हरभजन सिंह का मानना है कि पूर्व भारतीय कप्तान एमएस धोनी को BCCI से काफी समर्थन मिलता था और अगर बोर्ड ऐसा समर्थन बाकी खिलाड़ियों को देती तो उनमें से कई आज भारत के लिए महान खिलाड़ी बन गए होते। बता दें कि हरभजन ने हाल ही में क्रिकेट से संन्यास का ऐलान किया था।
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हरभजन ने आगे कहा कि अगर उन्हें लंबे समय तक खेलने का मौका दिया जाता तो वो 100-150 विकेट और ले सकते थे। ऑफ स्पिनर, जिन्होंने 1998 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ बैंगलोर में टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया, उन्होंने 103 टेस्ट में देश का प्रतिनिधित्व किया और 32.46 की औसत से 417 विकेट लिए, जिसमें 25 पांच विकेट हॉल विकेट शामिल थे। जबकि 236 वनडे मैचों में उन्होंने 33.35 की गेंदबाजी औसत से 269 विकेट लिए।
BCCI के कुछ अधिकारी नहीं चाहते थे कि मैं और खेलूं- हरभजन सिंह
Zee News से बातचीत करने के दौरान हरभजन सिंह ने कहा कि, “अन्य खिलाड़ियों की तुलना में धोनी को BCCI से अधिक समर्थन मिलता था और अगर बाकी खिलाड़ियों को भी उसी तरह का समर्थन मिलता, तो वे भी खेलते। ऐसा नहीं था कि बाकी खिलाड़ी बॉल स्विंग कराना भूल गए या बैट चलाना भूल गए।”
41 वर्षीय हरभजन ने दावा किया कि ‘बीसीसीआई के कुछ अधिकारियों’ ने उन्हें भारतीय सेटअप से समय से पहले बाहर कर दिया। उन्होंने ये भी कहा कि सेलेक्शन हमेसा ही कोच और कप्तान से परे होकर की जाती है। भज्जी ने कहा कि, ” हां, तब महेंद्र सिंह धोनी ही टीम के कप्तान थे, लेकिन मेरा मानना है कि यह सब चीजें धोनी के सिर से भी ऊपर जा रही होंगी।”
उन्होंने आगे कहा कि, “इसमें कुछ बीसीसीआई के अधिकारी मिले हुए थे, जो नहीं चाहते थे कि मैं आगे खेलूं और तब कप्तान ने भी उनको सपोर्ट किया। हालांकि कप्तान, कोच या टीम कभी भी बीसीसीआई से बड़े नहीं होते हैं।”