पाकिस्तान की 1992 वर्ल्ड कप विजेता टीम का हिस्सा न होकर बिखर चुके थे वकार यूनुस

इमरान खान की कप्तानी में पाकिस्तान ने पहला वर्ल्ड कप जीता था।

Advertisement

Waqar Younis (Image Source: Twitter)

हर एथलीट का सपना होता है कि वह अपने देश का प्रतिनिधित्व सर्वोच्च स्तर पर करे, और क्रिकेटरों के लिए वर्ल्ड कप का हिस्सा होना और जीतना सबसे बड़ी उपलब्धि होती है। वकार यूनिस 90 के दशक में पाकिस्तान के एक गेंदबाजी सनसनी थे और साल 1992 में इमरान खान की कप्तानी में वनडे वर्ल्ड कप का हिस्सा होकर भी उन्हें यह गौरव हासिल करने का मौका मिलते-मिलते दुर्भाग्य से रह गया।

Advertisement
Advertisement

पूर्व तेज गेंदबाजी दिग्गज 1992 वर्ल्ड कप के लिए ऑस्ट्रेलिया पहुंच चुके थे, लेकिन उनकी पीठ में स्ट्रेस फ्रैक्चर ने उनसे यह मौका छीन लिया। अब 30 साल बाद जब पाकिस्तान इंग्लैंड के खिलाफ टी-20 वर्ल्ड कप 2022 के खिताब के लिए MCG में 13 नवंबर को भिड़ने के लिए तैयार है, वकार यूनिस ने 1992 वर्ल्ड कप की कुछ खट्टी-मीठी यादों को याद किया। पूर्व कप्तान ने बताया कि कैसे वह पाकिस्तान के पहली बार वर्ल्ड कप जीतने के बाद भावुक हो गए थे, जब टीम ट्रॉफी के साथ स्वदेश लौटी थी।

1992 वर्ल्ड कप विजेता टीम का हिस्सा न होकर बिखर चुके थे वकार यूनुस

वकार यूनुस ने ए स्पोर्ट्स पर बात करते हुए कहा: “मैं 1992 वर्ल्ड कप जीतने वाली टीम का हिस्सा नहीं था, जिसके बावजूद मुझे खुशी है और मैं मानता हूं कि मैं उस इतिहास रचने वाली टीम का हिस्सा था। मुझे चोट के कारण ऑस्ट्रेलिया से पाकिस्तान लौटना पड़ा था, और मेरे बाकी के साथी चैंपियन बनकर लौटे थे, और वहां जो माहौल था, ऐसा मैंने पहले कभी अपने जीवन में नहीं देखा था। जब हमारी टीम पाकिस्तान पहुंची, तो मुझे उनका स्वागत करने के लिए आमंत्रित किया गया।

यह मेरे लिए बहुत बड़ा झटका था, क्योंकि मुझे इसकी उम्मीद नहीं थी। इस जीत से सभी हैरान थे, क्योंकि किसी को भी बहुत ज्यादा उम्मीद नहीं थी कि वह टीम ऐसा कुछ कर पाएगी, लेकिन उन्होंने वर्ल्ड कप जीतने के लिए हर संभव प्रयास किया और सफल हुए। मैं हमारे वर्ल्ड कप विजेताओं के स्वागत के लिए हवाईअड्डे पर पहुंचा। मुझे अभी भी याद है कि उन्होंने हवाईअड्डे के गेट खोल दिए थे, क्योंकि उन दिनों चीजें बहुत आसान थीं, और लोग ट्रॉफी देखने और खिलाड़ियों का स्वागत करने रनवे पर पहुंच गए थे।

मैं केवल रो रहा था: वकार यूनुस

मैं उस समय के हमारे प्रधानमंत्री के साथ सीढ़ी पर खड़ा था। सभी की नजरे टीम पर थीं। फिर वसीम अकरम क्रिस्टल ट्रॉफी लेकर सबसे पहले प्लेन से निकले। उस समय तक मैं ठीक था। लेकिन फिर जब मैंने सभी खिलाड़ियों को बाहर आते देखा, तो मैं टूट गया था। मैं इतना इमोशनल हो गया था कि मुझे वही नीचे बैठना पड़ा। मैं सुन्न था, मैं अपने पैरों के नीचे जमीन महसूस नहीं कर पा रहा था। मैं केवल रो रहा था, क्योंकि मैं इस ऐतिहासिक मौके से चूक गया था। लेकिन वसीम भाई ने मुझे ट्रक में खींच लिया, और जिस तरह से उन्होंने मेरा सम्मान किया, मुझे लगा ही नहीं कि मैं उस टीम का हिस्सा नहीं था।”

Advertisement