दोहरी भूमिका के साथ त्रिपुरा का दामन थाम सकते हैं रिद्धिमान साहा - क्रिकट्रैकर हिंदी

दोहरी भूमिका के साथ त्रिपुरा का दामन थाम सकते हैं रिद्धिमान साहा

रिद्धिमान साहा ने साल 2007 में बंगाल के लिए प्रथम-श्रेणी क्रिकेट में डेब्यू किया था।

Wriddhiman Saha (Image Source: BCCI)
Wriddhiman Saha (Image Source: BCCI)

भारतीय क्रिकेट टीम से बाहर चल रहे अनुभवी विकेटकीपर-बल्लेबाज रिद्धिमान साहा का बंगाल क्रिकेट में वापसी का कोई इरादा नहीं है, और अब तो वह कथित तौर पर अन्य राज्य संघो से उनकी टीम में शामिल होने के लिए चर्चा कर रहे हैं। साहा को हाल ही में उनकी बिना मर्जी के रणजी ट्रॉफी 2022 के नाकआउट मैचों के लिए बंगाल टीम में शामिल किया गया था, लेकिन उन्होंने साफ तौर खेलने से मना कर दिया।

आपको बता दें, बंगाल क्रिकेट संघ (CAB) के एक पदाधिकारी ने रिद्धिमान साहा की प्रतिबद्धता पर सवाल उठाया था, जिसके बाद काफी बयानबाजी चली और अब चीजें इस कदर खराब हो गई हैं कि अनुभवी विकेटकीपर-बल्लेबाज बंगाल टीम के लिए दोबारा खेलना ही नहीं चाहते हैं।

रिद्धिमान साहा थाम सकते हैं त्रिपुरा का दामन

बंगाल क्रिकेट संघ (CAB) के साथ अनबन के चलते साल 2007 में बंगाल के लिए प्रथम-श्रेणी क्रिकेट में डेब्यू करने वाले साहा ने अपनी टीम से 15 साल पुराना रिश्ता तोड़ लिया, और अब खबरें आ रही हैं कि वह त्रिपुरा के साथ दोहरी भूमिका ने नजर आ सकते हैं। रिद्धिमान साहा कथित तौर पर त्रिपुरा के साथ प्लेयर-कम-मेंटर की भूमिका के लिए बातचीत कर रहे हैं। हालांकि, अभी तक कुछ भी तय नहीं हुआ है, लेकिन त्रिपुरा क्रिकेट एसोसिएशन (TCA) ने साहा को राज्य की सीनियर टीम में प्लेयर-कम-मेंटर के रूप में शामिल करने में रुचि व्यक्त की है।

यह भी कहा जा रहा है कि त्रिपुरा क्रिकेट एसोसिएशन (TCA) साहा के साथ इस मुद्दे पर 20 जून को विस्तारित चर्चा करेगा। लेकिन साहा को इस मामले को आगे बढ़ाने के लिए सबसे पहले बंगाल क्रिकेट संघ (CAB) और फिर भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) से अनिवार्य रूप से एनओसी (अनापत्ति प्रमाण पत्र) प्राप्त करना होगा।

PTI/NDTV के अनुसार, एक अधिकारी ने कहा: “वह त्रिपुरा के साथ प्लेयर-कम-मेंटर की भूमिका चाहते हैं। वह त्रिपुरा में TCA के कुछ सदस्यों के साथ बातचीत कर रहे हैं, लेकिन अभी तक कुछ भी तय नहीं हुआ है। उन्हें पहले CAB और फिर BCCI से क्लीयरेंस (अनापत्ति प्रमाणपत्र) लेना होगा, जिसके बाद ही इस मुद्दे को आगे बढ़ाया जाएगा।”

सूत्रों के अनुसार, साहा ने कुछ अन्य राज्यों के साथ भी चर्चा की, लेकिन फिलहाल, वह किसी भी निर्णय पर नहीं पहुंचे हैं। वह त्रिपुरा के अलावा अन्य प्रस्तावों को भी देखेंगे, जिसके बाद सर्वश्रेष्ठ प्रस्ताव का चुनाव करेंगे।

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