घरवाले नहीं चाहते थे बेटा बने क्रिकेटर लेकिन वर्ल्ड कप फाइनल में मनजोत ने दिलाया जीत
अद्यतन - फरवरी 3, 2018 2:29 अपराह्न
ऑस्ट्रेलिया और भारत के बीच अंडर-19 वर्ल्ड कप के फाइनल मुकाबले में भारत ने ऑस्ट्रेलिया को करारी शिकस्त देते हुए चैंपियनशिप हासिल कर ली है. और यह चौथी बार हुआ है जब भारत ने अंडर-19 वर्ल्ड कप में खिताब जीता है. लेकिन इस जीत के हीरो रहे मनजोत कालरा है जिन्होंने शानदार शतकीय पारी खेलते हुए भारतीय टीम को जीत तक पहुंचा दिया.
अंडर-19 वर्ल्ड कप के फाइनल मुकाबले में टीम इंडिया के ओपनर बल्लेबाज मनजोत कालरा ने शानदार शतक लगाकर टीम को जीत दिलाया. उन्होंने 101 गेंदों में अपना शतक पूरा किया. जिसमें मनजोत ने 3 शानदार छक्के और 8 चौके में लगाएं. मनजोत अपने पिछले सेमीफाइनल मुकाबले में पाकिस्तान के खिलाफ भी 47 रनों की पारी खेल टीम को जीत दिलाने में अहम योगदान दिया.
मनजोत कारला दिल्ली के आजादपुर मंडी के रहने वाले हैं. उनके पिता प्रवीण कुमार एक बिजनेसमैन है. वह चाहते थे कि मनजोत पढ़ाई करें और उसी के आधार पर वो जीवन में आगे बढ़ें. लेकिन अंडर-19 वर्ल्ड कप में टीम में चुने जाने पर उन्होंने खुशी जताई थी. उनके पिता को लगता था कि मनजोत पढ़ने में काफी अच्छा है. और वो अपने पढ़ाई में काफी दूर तक जाएगा. लेकिन मनजोत ने अपने बड़े भाई के साथ क्रिकेट खेलता था. और खेलते-खेलते टीम इंडिया में अपनी जगह बना ली. मनजोत को आईपीएल में 20 लाख की बेस प्राइस पर दिल्ली डेयरडेविल्स ने खरीदा है.
भारतीय अंडर-19 क्रिकेट टीम आईसीसी वर्ल्ड कप में शानदार जीत कर ली है. और फाइनल मैच ऑस्ट्रेलिया को 8 विकेट से हरा दिया है. भारत ने 217 रनों का टारगेट पूरा 40 ओवर के अंदर ही पूरा कर लिया और पृथ्वी शॉ की कप्तानी वाली भारतीय टीम ने ऑस्ट्रेलिया को 45.2 ओवर में ही ऑल आउट कर दिया था. और इस तरह भारतीय अंडर-19 टीम चौथी बार इस खिताब को अपने नाम किया है.